Uttar Pradesh: उत्तर प्रदेश में विकास की एक नई इबारत लिखी जाने की तैयारी चल रही है। दादरी और बुलंदशहर के 80 गांवों में फैले नए नोएडा के निर्माण की योजना अब धरातल पर उतरने लगी है। नोएडा प्राधिकरण ने इस महत्वाकांक्षी परियोजना के लिए जमीन का सर्वेक्षण कार्य प्रारंभ कर दिया है, जो राज्य के विकास में एक नया अध्याय जोड़ेगा।
सर्वेक्षण के लिए टीम नियुक्त, जमीन का होगा विस्तृत आकलन
नोएडा प्राधिकरण के अधिकारियों के अनुसार, सबसे पहले मौके पर एक अस्थायी कार्यालय स्थापित किया जाएगा, जहां से सर्वेक्षण कार्य को संचालित किया जाएगा। इसके लिए भू-लेख विभाग से एक छह सदस्यीय विशेष टीम को नियुक्त किया गया है। यह टीम न केवल कार्यालय स्थापना के लिए उपयुक्त स्थान का चयन करेगी, बल्कि क्षेत्र की वर्तमान भौगोलिक स्थिति का भी आकलन करेगी। इसके अतिरिक्त, टीम एरियल और सैटेलाइट तस्वीरों में दिख रहे अंतर का विश्लेषण करेगी, ताकि विकास कार्यों में बाधा आने वाले संभावित मुद्दों का पता चल सके।
आधुनिक सुविधाओं से लैस होगा नया शहर
गौरतलब है कि 18 अक्टूबर को दादरी-नोएडा-गाजियाबाद निवेश क्षेत्र के मास्टर प्लान-2041 को शासन से मंजूरी मिल चुकी है। इस योजना को प्राधिकरण की बोर्ड बैठक में भी प्रस्तुत किया गया था। मास्टर प्लान में नए नोएडा को एक आधुनिक शहर के रूप में विकसित करने का लक्ष्य रखा गया है, जिसमें सभी बुनियादी और आधुनिक सुविधाओं का प्रावधान होगा।
नए निर्माण कार्यों पर लगाई रोक, प्रगति के लिए चरणबद्ध योजना
प्राधिकरण ने चिह्नित क्षेत्रों में नए निर्माण कार्यों पर रोक लगा दी है, ताकि नियोजित विकास कार्यों में किसी भी प्रकार की बाधा न आए। सर्वेक्षण के प्रथम चरण की रिपोर्ट के आधार पर प्राधिकरण एक दूसरी टीम भेजेगा, जो आगे की कार्य योजना तैयार करेगी। इस रिपोर्ट में क्षेत्र की संभावनाओं और चुनौतियों का विस्तृत विवरण होगा, जिससे नए नोएडा का निर्माण कार्य सुचारू रूप से आगे बढ़ सके।
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नए नोएडा से बढ़ेगा रोजगार, क्षेत्र में आएगी समृद्धि
विशेषज्ञों के अनुसार, नए नोएडा के निर्माण से क्षेत्र में रोजगार के अवसरों में वृद्धि होगी और आसपास के गांवों में समृद्धि आएगी। नोएडा प्राधिकरण का मानना है कि इस महत्वाकांक्षी परियोजना से प्रदेश के आर्थिक विकास को नई गति मिलेगी और यह राज्य के विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा।