PM Modi: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी तीन दिवसीय फ्रांस यात्रा के तहत सोमवार (10 फरवरी) को पेरिस पहुंचे, जहां वे फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों के साथ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) एक्शन समिट के तीसरे संस्करण की सह-अध्यक्षता करेंगे। इस यात्रा के दौरान भारत और फ्रांस के बीच एआई, न्यूक्लियर एनर्जी, रणनीतिक साझेदारी और व्यापारिक संबंधों को लेकर महत्वपूर्ण वार्ताएं होंगी।
प्रधानमंत्री मोदी का फ्रांस दौरे का कार्यक्रम
प्रधानमंत्री मोदी की यात्रा की शुरुआत फ्रांसीसी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों द्वारा आयोजित औपचारिक डिनर से हुई, जिसमें वैश्विक टेक कंपनियों के सीईओ और अन्य उद्योग जगत की प्रमुख हस्तियां शामिल रहीं।
मंगलवार (11 फरवरी) को प्रधानमंत्री मोदी एआई एक्शन शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे, जहां आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस तकनीक के नैतिक उपयोग और वैश्विक अर्थव्यवस्था में इसकी भूमिका को लेकर चर्चा होगी। इस समिट में विभिन्न देशों के शीर्ष नेता भी मौजूद रहेंगे, जो एआई के भविष्य को लेकर रणनीतिक विचार-विमर्श करेंगे।
इसके अलावा, प्रधानमंत्री मोदी भारत-फ्रांस सीईओ फोरम को भी संबोधित करेंगे, जिसमें दोनों देशों के व्यापारिक हितों, तकनीकी सहयोग और रणनीतिक साझेदारी पर चर्चा होगी। इस बैठक में भारत और फ्रांस के प्रमुख उद्योगपतियों और निवेशकों की भागीदारी भी रहेगी।
न्यूक्लियर एनर्जी में सहयोग को मिलेगा बढ़ावा
प्रधानमंत्री मोदी अपनी यात्रा के अंतिम दिन कैडारेच स्थित इंटरनेशनल थर्मोन्यूक्लियर एक्सपेरिमेंटल रिएक्टर (ITER) का दौरा करेंगे। यह एक अंतरराष्ट्रीय वैज्ञानिक परियोजना है, जिसका उद्देश्य सुरक्षित न्यूक्लियर फ्यूजन एनर्जी का विकास करना है। भारत इस परियोजना में एक महत्वपूर्ण साझेदार के रूप में शामिल है।
अमेरिका रवाना होंगे पीएम मोदी
फ्रांस यात्रा समाप्त करने के बाद प्रधानमंत्री मोदी बुधवार (12 फरवरी) को अमेरिका के लिए रवाना होंगे, जहां वे राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से व्हाइट हाउस में मुलाकात करेंगे। यह मुलाकात ट्रंप के दूसरे कार्यकाल में दोनों नेताओं की पहली औपचारिक भेंट होगी, जिसमें द्विपक्षीय संबंधों और व्यापारिक सहयोग पर चर्चा की संभावना है।
भारतीय विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने प्रधानमंत्री मोदी की यात्रा के महत्व को रेखांकित करते हुए कहा कि यह दौरा भारत-फ्रांस रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करेगा और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस व न्यूक्लियर एनर्जी जैसे उभरते क्षेत्रों में सहयोग को नई ऊंचाइयों तक ले जाएगा।