Ghaziabad News: 4 नवंबर से चल रही वकीलों की हड़ताल आज समाप्त हो गई। गाजियाबाद बार एसोसिएशन के अध्यक्ष दीपक शर्मा ने धरना मंच से इसकी घोषणा की। उन्होंने बताया कि जिला जज अनिल कुमार से बहुत सौहार्दपूर्ण चर्चा के बाद यह निर्णय लिया गया। उन्होंने बताया कि वकीलों के खिलाफ दर्ज सभी मुकदमे वापस लेने के लिए पुलिस कमिश्नर अजय मिश्रा से बातचीत की गई। इस मामले में पुलिस कमिश्नर की ओर से एसीपी कवि नगर को निर्देश जारी किए जा चुके हैं।
बार और बेंच की गरिमा को बनाए रखना
बार अध्यक्ष दीपक शर्मा ने बताया कि बार और बेंच की गरिमा को बनाए रखने के लिए हड़ताल वापस ली गई है। गौरतलब है कि गाजियाबाद बार एसोसिएशन की कार्यकारिणी की बैठक में लिए गए निर्णय के बाद वरिष्ठ अधिवक्ताओं और पदाधिकारियों के प्रतिनिधिमंडल ने जिला जज से मुलाकात की और हड़ताल समाप्त करने का निर्णय लिया। जिला जज के साथ चर्चा में शामिल वकीलों ने इसे बहुत सौहार्दपूर्ण बताया और हड़ताल वापस लेने पर आम सहमति बनाई।
क्या था मामला?
29 अक्टूबर को जमानत मामले की सुनवाई के दौरान वरिष्ठ अधिवक्ता नाहर सिंह यादव और जिला जज के बीच तीखी नोकझोंक के बाद विवाद खड़ा हो गया था। घटना स्थल पर पुलिस द्वारा लाठीचार्ज किए जाने के बाद स्थिति और बिगड़ गई, जिससे वकीलों का गुस्सा और भड़क गया। वकीलों ने 4 नवंबर तक मामले पर कार्रवाई न होने पर अनिश्चितकालीन हड़ताल की घोषणा की। 4 नवंबर से गाजियाबाद के वकील हड़ताल पर थे।
14 दिसंबर को राष्ट्रीय लोक अदालत
शनिवार 14 दिसंबर को राष्ट्रीय लोक अदालत लगेगी। गाजियाबाद में हाल ही में हुई पश्चिमी उत्तर प्रदेश के 22 जिलों की बैठक में वकीलों ने लोक अदालत के बहिष्कार की घोषणा की थी। हालांकि हड़ताल समाप्त होने की घोषणा के बाद अब वकील लोक अदालत में हिस्सा लेंगे, जिससे वादकारियों को काफी फायदा होगा।
16 और 25 नवंबर को घोषणा
गाजियाबाद बार एसोसिएशन ने पहले 16 और 25 नवंबर को हड़ताल वापस लेने की घोषणा की थी, लेकिन वकीलों के असंतोष के कारण एसोसिएशन को इन घोषणाओं को वापस लेना पड़ा। हालांकि वकीलों ने अभी भी जिला जज की अदालत का बहिष्कार करने का फैसला किया है और मांगें पूरी न होने पर हड़ताल फिर से शुरू करने की चेतावनी दी है।