Delhi-NCR: दिल्ली एनसीआर में जल्द ही एक नए शहर ‘न्यू नोएडा’ की एंट्री होने जा रही है। नोएडा प्राधिकरण द्वारा प्रस्तावित यह शहर दादरी और बुलंदशहर के 84 गांवों की जमीन पर बसेगा। इसे आधिकारिक तौर पर “दादरी, नोएडा, गाजियाबाद इनवेस्टमेंट रीजन” (DNGIR) के नाम से जाना जाएगा। इस शहर को विकसित करने के लिए नोएडा प्राधिकरण के सीईओ डॉ. लोकेश एम ने सोमवार को एक बैठक आयोजित की, जिसमें कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए।
न्यू नोएडा के लिए जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया शुरू
नोएडा प्राधिकरण की 215वीं बोर्ड बैठक, जो 26 अक्टूबर को आयोजित हुई थी, में न्यू नोएडा के लिए जमीन अधिग्रहण करने का निर्देश दिया गया था। इस अधिग्रहण प्रक्रिया के साथ ही 84 गांवों के लगभग 20 हजार से अधिक किसानों को मुआवजा दिया जाएगा।
अवैध निर्माण पर होगी सख्त कार्रवाई: सीईओ
नोएडा प्राधिकरण के सीईओ डॉ. लोकेश एम ने जानकारी दी कि ईस्टर्न पेरिफेरल के पास अस्थायी ऑफिस खोला जाएगा, जहाँ भूमि और सिविल विभाग के अधिकारी नियमित रूप से कार्य करेंगे। उन्होंने बताया कि क्षेत्र का सर्वेक्षण करने के लिए एरियल और सैटेलाइट फोटोग्राफी का निर्णय लिया गया है, जो जल्द ही शुरू किया जाएगा। डॉ. लोकेश ने स्पष्ट किया कि मास्टर प्लान को कैबिनेट से मंजूरी मिल चुकी है और किसी भी अवैध निर्माण पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
चार चरणों में होगा न्यू नोएडा का विकास
न्यू नोएडा का विकास चार चरणों में किया जाएगा, जिसमें कुल 209.11 वर्ग किलोमीटर यानी 20,911.29 हेक्टेयर क्षेत्र को शामिल किया गया है। पहले चरण में 2023 से 2027 तक 3165 हेक्टेयर, दूसरे चरण में 2027 से 2032 तक 3798 हेक्टेयर, तीसरे चरण में 2032 से 2037 तक 5908 हेक्टेयर और अंतिम चरण में 2037 से 2041 तक 8230 हेक्टेयर जमीन को विकसित किया जाएगा। वर्तमान में इन क्षेत्रों में लगभग 1 लाख 20 हजार की आबादी निवास करती है, जो 2041 तक बढ़कर 6 लाख 33 हजार तक पहुँचने का अनुमान है।
ये भी पढें..
6 लाख की आबादी के लिए विकसित होंगी आधुनिक सुविधाएं
न्यू नोएडा में बुलंदशहर के 60 और गौतमबुद्ध नगर के 20 गांवों को शामिल किया जाएगा। यहां लगभग 6 लाख लोगों के लिए आवासीय, व्यावसायिक, औद्योगिक और परिवहन सुविधाओं का विकास किया जाएगा। रेजिडेंशियल यूज के लिए 2810.54 हेक्टेयर, हरियाली और पार्कों के लिए 1792.26 हेक्टेयर, ट्रांसपोर्टेशन के लिए 2963.61 हेक्टेयर, उद्योगों के लिए 8440 हेक्टेयर और कॉमर्शियल यूज के लिए 849.97 हेक्टेयर जमीन आरक्षित की गई है।