Greater Noida: ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के एसीईओ सौम्य श्रीवास्तव ने बिल्डरों को कड़े शब्दों में निर्देश दिए हैं कि 31 दिसंबर 2024 तक सभी पेंडिंग फ्लैटों की रजिस्ट्री पूरी कर ली जाए। ऐसा न करने पर प्राधिकरण अमिताभ कांत समिति की सिफारिशों के तहत बिल्डरों को दी गई राहत को वापस ले लेगा। साथ ही, एनओसी के नाम पर फ्लैट खरीदारों से अतिरिक्त शुल्क वसूलने वाले बिल्डरों पर भी कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी गई है।
रजिस्ट्री में देरी पर प्राधिकरण का रुख सख्त
एसीईओ ने साफ कहा है कि लीज डीड पर विलंब शुल्क में दी गई राहत केवल 21 जनवरी 2025 तक मान्य होगी। इसके बाद और समय नहीं दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि पेंडिंग रजिस्ट्रेशन के लिए 31 दिसंबर की डेडलाइन अंतिम है।
बिल्डरों के साथ बैठक में सख्त चेतावनी
गुरुवार को प्राधिकरण के बोर्ड रूम में हुई बैठक में एसीईओ सौम्य श्रीवास्तव ने बिल्डरों के साथ प्रोजेक्टवार स्टेटस रिपोर्ट की समीक्षा की। बैठक में प्राधिकरण के सीईओ एनजी रवि कुमार भी मौजूद रहे। बैठक के दौरान बिल्डरों को स्पष्ट चेतावनी दी गई कि पेंडिंग फ्लैटों की रजिस्ट्री न कराने पर उनका आवंटन रद्द कर दिया जाएगा।
7000 फ्लैटों की रजिस्ट्री अभी बाकी
अमिताभ कांत समिति की सिफारिशों के तहत ग्रेटर नोएडा के 98 प्रोजेक्ट्स में से 76 प्रोजेक्ट राहत नीति के दायरे में आते हैं। इन प्रोजेक्ट्स में कुल 62912 फ्लैट हैं, जिनमें से 38661 फ्लैटों को कार्यपूर्ति प्रमाणपत्र जारी किया जा चुका है। अब तक लगभग 31600 फ्लैटों की रजिस्ट्री पूरी हो चुकी है, लेकिन 34 प्रोजेक्ट्स में करीब 7000 फ्लैटों की रजिस्ट्री अभी भी बाकी है।
विलंब शुल्क से बचाने की पहल
प्राधिकरण की प्राथमिकता है कि 21 जनवरी 2025 तक सभी पेंडिंग फ्लैटों की रजिस्ट्री पूरी हो जाए, ताकि खरीदारों पर विलंब शुल्क का बोझ न पड़े। एसीईओ ने बिल्डरों को फटकार लगाते हुए एनओसी के नाम पर अतिरिक्त शुल्क वसूलने की शिकायतों पर कार्रवाई करने की बात कही।
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बिल्डर विभाग को निर्देश
बैठक में बिल्डर विभाग की मैनेजर स्नेहलता और 30 से अधिक बिल्डर प्रतिनिधि मौजूद रहे। एसीईओ ने विभाग को निर्देश दिए कि रजिस्ट्री की प्रक्रिया में तेजी लाएं और लापरवाह बिल्डरों के खिलाफ सख्त कदम उठाएं।