Greater Noida: ग्रेटर नोएडा के बीटा-2 थाना क्षेत्र में स्थित कासना गोल चक्कर के पास ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण द्वारा बनाए जा रहे कूड़ा निस्तारण केंद्र का विरोध लगातार बढ़ता जा रहा है। स्थानीय निवासियों के बाद अब किसानों ने भी इस निर्माण के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। बुधवार सुबह जब प्राधिकरण के कर्मचारी निर्माण कार्य के लिए पहुंचे, तो मौके पर मौजूद युवकों ने उन्हें काम करने से रोक दिया। इस दौरान पुलिस और किसानों के बीच तनाव इतना बढ़ गया कि दो युवकों ने आत्मदाह की कोशिश करते हुए अपने ऊपर तेल छिड़क लिया।
किसानों का आरोप और विरोध का कारण
अक्षित शर्मा, निवासी मिलक लच्छी, और हिमांशु वशिष्ठ, निवासी ककौड जिला बुलंदशहर, ने अथॉरिटी के इस निर्माण कार्य का विरोध करते हुए आत्मदाह की कोशिश की। जब अथॉरिटी के कर्मचारियों ने उन्हें समझाने का प्रयास किया, तो उन्होंने किसी भी प्रकार की बात मानने से इंकार कर दिया। स्थिति इतनी गंभीर हो गई कि दोनों युवकों ने अपने ऊपर तेल छिड़ककर आत्मदाह करने की कोशिश की। पुलिस और प्राधिकरण के कर्मचारियों ने तुरंत हस्तक्षेप कर दोनों को बचाया और आत्मदाह की इस कोशिश को विफल कर दिया।
पुलिस की कार्यवाही और आरोप
घटना के बाद ग्रेटर नोएडा के एडिशनल डीसीपी अशोक कुमार ने बताया कि अक्षित शर्मा और हिमांशु वशिष्ठ के पास घटनास्थल पर कोई जमीन नहीं थी, और न ही वे किसी सोसायटी के निवासी थे। पुलिस का मानना है कि ये दोनों किसी साजिश के तहत इस विरोध प्रदर्शन में शामिल हुए थे और उन्होंने सरकारी कार्य को बाधित करने की कोशिश की। पुलिस ने मौके पर शांति व्यवस्था स्थापित कर दी और दोनों व्यक्तियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर आवश्यक कानूनी कार्यवाही शुरू कर दी है।
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किसानों का आंदोलन और प्रशासन की तैयारी
कूड़ा निस्तारण केंद्र के निर्माण के विरोध में किसानों का आंदोलन जारी है। वे पिछले कई दिनों से धरने पर बैठे हुए हैं और प्राधिकरण के कार्यों का विरोध कर रहे हैं। किसानों का आरोप है कि उनकी जमीनों का उचित मुआवजा नहीं दिया जा रहा है और उनकी आवाज को दबाने की कोशिश की जा रही है। इस घटना के बाद किसानों का विरोध और भी तेज हो गया है। उन्होंने चेतावनी दी है कि अगर उनकी मांगें नहीं मानी गईं तो वे अपना आंदोलन और उग्र करेंगे।