Greater Noida News: ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के वाणिज्यिक विभाग ने 26 जून 2024 को एसबीआई के ई-नीलामी पोर्टल और प्राधिकरण की वेबसाइट के माध्यम से 12 वाणिज्यिक भूखंडों के लिए एक योजना प्रकाशित की। प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि 22 जुलाई 2024 निर्धारित की गई थी। इस समय सीमा तक, केवल पांच भूखंडों के लिए तीन या अधिक बोलियां प्राप्त हुईं, जबकि शेष सात भूखंडों के लिए कोई बोली प्राप्त नहीं हुई। नतीजतन, इन सात भूखंडों के लिए समय सीमा 27 अगस्त 2024 तक बढ़ा दी गई।
जांच में खुलासा
पांच भूखंडों के लिए प्राप्त 20 बोलियों की एक सीए फर्म द्वारा जांच की गई। जांच के बाद, यह पाया गया कि एक भूखंड के लिए छह बोलीदाताओं में से केवल चार को ही योग्य माना गया, जबकि दो को अयोग्य घोषित कर दिया गया। इसके बाद आरोप सामने आए कि दो बोलीदाताओं को कमजोर आधार पर जानबूझकर बाहर रखा गया था और शेष चार बोलीदाता स्टारसिटी रियलस्टेट्स प्राइवेट लिमिटेड से जुड़े थे। इस अनियमितता में ग्रेटर नोएडा के विशेष कार्याधिकारी (ओएसडी) संतोष कुमार की भूमिका संदिग्ध पाई गई। उन पर स्टारसिटी रियल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड के पक्ष में टेंडर प्रक्रिया को प्रभावित करने का आरोप था।
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अब नोएडा प्राधिकरण से संबद्ध
कदाचार के इन आरोपों के चलते सरकार ने संतोष कुमार के खिलाफ विभागीय अनुशासनात्मक कार्रवाई शुरू करते हुए उन्हें तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। निलंबन के दौरान उन्हें जीवन निर्वाह भत्ता और अन्य निर्धारित लाभ मिलेंगे, लेकिन उन्हें किसी अन्य कार्य या व्यवसाय में संलग्न होने पर रोक लगा दी गई है। निलंबन की इस अवधि में उन्हें नोएडा प्राधिकरण से संबद्ध रखा गया है।