Ghaziabad: गाजियाबाद के शिवशक्ति धाम डासना में आगामी विश्व धर्म संसद की तैयारियों पर चर्चा के लिए रविवार को एक बैठक आयोजित की गई। 17 दिसंबर, 2024 को होने वाले इस कार्यक्रम की मेजबानी श्री पंचदशनाम जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरि करेंगे। यजीदी और यहूदी समुदायों के प्रतिनिधियों को भी इसमें भाग लेने के लिए आमंत्रित किया गया है।
गैर-मुसलमानों के सम्मानपूर्वक जीवन जीने की आवाज़
यति नरसिंहानंद गिरि ने कहा कि इस विश्व धर्म संसद का उद्देश्य सभी गैर-मुसलमानों के सम्मानपूर्वक जीवन जीने के अधिकार की वकालत करने वाला एक मंच बनना है। यह पहला ऐसा मंच होगा, जहां इस्लामिक जिहाद से प्रभावित व्यक्ति या समुदाय अपने अनुभव और दर्द को दुनिया के साथ साझा कर सकेंगे। उन्होंने इस्लामिक जिहादियों से संभावित खतरों को स्वीकार किया, जो संसद में बाधा डालने का प्रयास कर सकते हैं, लेकिन उन्होंने आश्वासन दिया कि वे किसी भी स्थिति का सामना करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने घोषणा की, “हमारी जलती हुई चिताएं मानवता के लिए प्रकाश की किरण बनेंगी और हमारा बलिदान मानवता की रक्षा का मार्ग प्रशस्त करेगा।”
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अन्नपूर्णा भारती द्वारा आमंत्रण
बैठक का समापन इस निर्णय के साथ हुआ कि निरंजनी अखाड़े की महामंडलेश्वर साध्वी अन्नपूर्णा भारती विश्व धर्म संसद के लिए सभी सनातनी धार्मिक नेताओं को आमंत्रण देंगी। इसके अतिरिक्त, यति सत्यदेवानंद, यति रामस्वरूपानंद, यति रणसिंहानंद, यति निर्भयानंद और कर्मयोगी आचार्य आशीष गोडसे सिख, जैन और बौद्ध धार्मिक नेताओं को इस कार्यक्रम में आमंत्रित करेंगे।