मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को 2012 में ही प्रधानमंत्री मेटेरियल बताने वाले पूर्व उपमुख्यमंत्री और राज्यसभा सांसद सुशील मोदी अब इस सवाल पर चुप हो गये है। सुशील मोदी से आज जब पत्रकारों ने पूछा कि क्या आप मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पीएम मटेरियल मानते है तो वह चुप हो गये। इसके बाद भी मीडिया के लोगों ने दोबारा ये सवाल उनसे पूछा। इस पर उन्होंने सिर्फ इतना ही कहा कि वह इस मामले पर कुछ नहीं बोलेंगे।
इसके बाद उन्होंने बात बदल दी और भाजपा की ओबीसी मोर्चा की होने वाली बैठक की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि अगले महीने चार और पांच सितम्बर को बिहार के खगड़िया में बीजेपी के ओबीसी मोर्चा की दो दिवसीय बैठक होने वाली है। देश में पिछड़ा और अति पिछड़ा वर्ग के लोगों को जनसंघ और बीजेपी के शासनकाल में ही लाभ मिला है।
नीट में ओबीसी छात्रों को आरक्षण देने पर राज्य सभा सांसद सुशील मोदी ने कहा कि केंद्र में अभी नरेन्द्र मोदी की सरकार है। नीट में ओबीसी के छात्रों को केंद्र की सरकार ने आरक्षण देने का ऐलान किया है। सरकार के इस फैसले के बाद ओबीसी वर्ग से आने वाले छात्रों को लाभ मिलेगा।
उल्लेखनीय है कि वर्ष 2012 में सुशील कुमार मोदी ने नीतीश कुमार को सबसे पहले पीएम मेटेरियल बताया था। केंद्र में यूपीए की सरकार थी। 2013 के अंदर जब नरेन्द्र मोदी को पीएम का उम्मीदवार बनाया गया तो नीतीश कुमार भाजपा छोड़ चुके थे। इसके बाद भी सुशील मोदी ने कई बार नीतीश कुमार को पीएम मेटेरियल बताया था लेकिन अब सुशील मोदी केंद्र की राजनीति में है और उनका रुख भी पहले से बदल चुका है।